आज फिर मेरे कुछ भाई वीरगति को प्राप्त हुए। आज फिर मेरी मातृभूमि का सीना लाल हुआ। उजड़ा है चमन जो कल तक था स्वर्ग समान। ना जाने कब थकेगा तू, ऐ बेईमान! सहमा - सा मेरा मन कर रहा है एक सवाल! छीन कर शांति, क्यों है ये बवाल? इतने हमलों के बाद में … Continue reading क्या मिलता आतंकवाद से??